Chardham Yatra : केदारनाथ धाम में रविवार भोर भीषण हिमस्खलन देख लोगों की सांसे थम गईं। केदारनाथ मंदिर के पीछे पहाड़ से ग्लेशियर टूटते देख लोग सहम गए। हिमस्खलन के बाद मंदिर परिसर के आसपास बर्फीला तूफान आ गया। हालांकि, बर्फ का गुबार तेज रफ्तार के साथ नीचे खिसकते हुए गहरी खाई में समा गया। इस घटना से 2013 के जल प्रलय की यादें ताजा हो गईं। जब बादल फटने के बाद आई बाढ़ ने हजारों जिंदगियां खत्म कर दी थी।
इस दौरान मंदिर परिसर और केदारनाथ के अलग-अलग क्षेत्रों में खड़े तीर्थ यात्रियों और अन्य लोगों ने इसकी वीडियो बनाई। भू-वैज्ञानिकों का कहना है कि हिमालय क्षेत्र में इस तरह की घटना होना सामान्य है। यह घटना रविवार सुबह 5.06 बजे की बताई जा रही है। हिमालय की मेरु-सुमेरू पर्वत शृंखला के नीचे चोराबाड़ी ग्लेशियर में गांधी सरोवर के ऊपरी क्षेत्र में हिमस्खलन हुआ। बताया जा रहा है कि बीते आठ जून को भी चोराबाड़ी ग्लेशियर में हिमस्खलन हुआ था। बता दें कि वर्ष 2022 सितंबर व अक्तूबर में तीन बार हिमस्खलन की घटना हुई थी। 2023 में मई व जून में चोराबाड़ी ग्लेशियर से लगे कंपेनियन ग्लेशियर में भी पांच बार हिमस्खलन हुआ था। तब भारतीय सुदूर संवेदन संस्थान और वाडिया संस्थान के वैज्ञानिकों ने क्षेत्र का स्थलीय व हवाई सर्वेक्षण कर स्थिति का जायजा लिया था। वैज्ञानिक दल ने तब भी इन घटनाओं को हिमालय क्षेत्र में सामान्य बताया था लेकिन केदारनाथ मंदिर क्षेत्र में सुरक्षा को और बेहतर बनाने पर जोर दिया था।
हालांकि, वैज्ञानिक इसे सामान्य घटना बता रहे हैं।